वाशिंगटन। अमेरिकी संसद ने सऊदी अरब को हथियारों की बिक्री से जुड़े 810 करोड़ डॉलर (करीब 56 हजार करोड़ रुपये) के सौदे पर रोक लगा दी है। संसद के निचले सदन प्रतिनिधि सभा में बुधवार को इस सौदे के विरोध में लाया गया प्रस्ताव बहुमत से पास हो गया। सौदे पर रोक राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के लिए बड़ा झटका है। ट्रंप ने सऊदी अरब के साथ इस सौदे को इसी साल मंजूरी दी थी। ट्रंप ने इसके लिए आपातकाल के प्रावधान का इस्तेमाल किया था। संसद के उच्च सदन सीनेट ने इस सौदे के लिए मंजूरी दे दी थी। निम्न सदन से पास होने के बाद इस पर सिर्फ व्हाइट हाउस की मुहर लगनी थी। संभावना जताई जा रही है कि अब ट्रंप अपने विशेषाधिकार का इस्तेमाल कर विपक्षी डेमोक्रेट पार्टी के बहुमत वाली प्रतिनिधि सभा के इस फैसले पर वीटो लगा सकते हैं। पश्चिम एशिया में तनाव के बीच ट्रंप प्रशासन सऊदी अरब के साथ ही संयुक्त अरब अमीरात और जॉर्डन को हथियारों व सैन्य साजो-सामान की आपूर्ति की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रहा है।
खशोगी की हत्या की साजिश बनी वजह
वाशिंगटन पोस्ट के पत्रकार जमाल खशोगी की हत्या से जुड़े मामले को प्रतिनिधि सभा में इस हथियार सौदे को मंजूरी नहीं मिलने की मुख्य वजह माना जा रहा है। सदन के कई सदस्यों ने खशोगी की हत्या के लिए सऊदी प्रिंस सलमान को जिम्मेदार ठहराया। सऊदी अरब के समर्थन से यमन में जारी हिंसा को भी हथियार सौदे पर रोक का कारण माना जा रहा है।