D.NEWS DEHRADUN : जगद्गुरु रामानंदाचार्या हंसदेवाचार्य ने कहा कि दिल्ली में होने वाली धर्मसभा से पहले केंद्र की मोदी सरकार को श्रीराम मंदिर निर्माण की तिथि घोषित कर देनी चाहिए, क्योंकि 9 दिसंबर को दिल्ली की रामलीला मैदान में होने वाली धर्मसभा श्रीराम मंदिर निर्माण को लेकर कोई ठोस फैसला ले सकती है। उससे सरकार को ही परेशानी होगी। उससे पहले सरकार के पास पर्याप्त समय है कि वह श्रीराम मंदिर निर्माण का रास्ता साफ करे। अब इस मामले में किसी तरह का कोई आश्वासन या वार्ता संभव नहीं है। केवल मंदिर निर्माण ही एक मात्र हल है।
बुधवार को हरिद्वार में स्पर्श गंगा अभियान के कार्यक्रम में हंसदेवाचार्य ने कहा कि देश में चारों ओर श्रीराम मंदिर निर्माण की चर्चा हो रही है। कहा कि धर्मादेश के बाद ही देश में राम मंदिर निर्माण का माहौल बना। अब इसमे देरी बर्दाश्त नहीं होगी। परमार्थ निकेतन आश्रम के अध्यक्ष स्वामी चिदानंद सरस्वती ने कहा कि संविधान के दायरे में रहकर सभी के सहयोग से राम मंदिर का निर्माण कराया जाएगा। उन्होंने कहा कि राम मंदिर का बनना तय है और यह काम बहुत जल्द होने जा रहा है। संत समाज के साथ ही करोड़ों हिन्दुओं की निगाहें इस ओर लगी हुई हैं।
दक्षिणी कालीपीठ के पीठाधीश्वर कैलाशानंद ब्रह्मचारी ने कहा कि देश का संत समाज राम मंदिर निर्माण को लेकर संकल्पबद्ध है। संसद में कानून पास कर श्रीराम मंदिर का रास्ता साफ किया जा सकता है। श्रीराम मंदिर के निर्माण को लेकर देश की जनता को नरेंद्र मोदी सरकार से काफी उम्मीद है। सरकार को किसी भी हालत में जनता की उम्मीदों पर खरा उतरना होगा। उन्होंने कहा कि छह दिसंबर के बाद राम मंदिर निर्माण की स्थिति स्पष्ट हो जाएगी। कहा कि संत समाज राम मंदिर को लेकर आंदोलन करने से भी पीछे नहीं हटेगा।