देहरादून,(देवभूमि जनसंवाद न्यूज़) श्री श्री जगन्नाथ जी की रथ यात्रा श्री गुंडिचा आयोजन समिति देहरादून ओड़िया समाज एवं श्री राम मंदिर समिति दीपलोक देहरादून द्वारा श्री राम मंदिर में आगामी 1 जुलाई 2022 को निकलने वाली श्री श्री जगन्नाथ जी गुडिंचा 25वी रथ यात्रा के आयोजन के अवसर पर धर्म सभा का आयोजन किया गया जिसमें जनपद देहरादून की विभिन्न धार्मिक सामाजिक संस्थाओं ने प्रतिभाग किया
पवित्र रस्सी खींच कर होगी रथ यात्रा
शक्तिपुत्र पंडित सुभाष चंद्र सतपति जी ने अवगत करवाया की जिस पवित्र एवं दिव्य रथ में भगवान श्री जगन्नाथ जी अपने परिवार के साथ विराजमान होंगे उस रथ को नंदीघोष रथ कहते हैं इसमें मोटे मोटे दो रसे बंधे होते है पवित्र रसों को वैदिक परंपराओं के अनुसार भक्तों द्वारा हरि बोल के जोरदार जयघोष के साथ खींचा जाता है इन रसों को खींचने के लिए भक्तों में अपार श्रद्धा होती है
धार्मिक व सौहार्द का प्रतीक होती है रथ यात्रा
कहते हैं श्री श्री जगन्नाथ जी की रथ यात्रा धार्मिक सौहार्द को बढ़ावा देने वाली यात्रा होती है
इस दिन पूरे विश्व में लगभग 25000 से ज्यादा रथ यात्राओं का आयोजन होता है जिनमें से एक यहां देहरादून में विजय रथ यात्रा आयोजित की जाती है
चलत देव
भगवान श्री श्री जगन्नाथ जी को चलते हुए देव भी कहा जाता है जब यह अपने स्थान से नंदीघोष रथ में विराजमान होंगे तब अपने आप ही स्वयं चल चल कर जिसे ओड़िया भाषा में पहुडी विजै कहते हैं यह रथ में विराजमान होते हैं
छहरा पहरा
नंदीघोष रथ में विराजमान होने के पश्चात जब यात्रा चलने को होती है तो कहते हैं कि ऐसी मान्यता है कि उस देश का राजा रथ के आगे पहले झाड़ू से छेहरा पहरा जिसे हिंदी में साफ सफाई कहते हैं करता है उसके पश्चात ही है यात्रा प्रारंभ होती है चूंकि अब राजाओं की परंपरा नहीं है तो राज्य के मुख्यमंत्रियों को इसमें निमंत्रित किया जाता है जो इस परंपरा का निर्वहन करते हैं
25 वी रथ यात्रा होगी भव्य
इस वर्ष भगवान श्री श्री जगन्नाथ जी की 25 वी रथ यात्रा 1 जुलाई 2022 को श्री राम मंदिर से प्रारंभ होगी यात्रा श्री राम मंदिर से प्रारंभ होकर किशन नगर चौक राधे कृष्ण मंदिर जो श्री श्री जगन्नाथ जी की मौसी का घर भी कहा जाता है वहां पहला विश्राम लेगी वहां पर प्रभु के स्वरूप की पूजा अर्चना व आरती की जाएगी और मिष्ठान वितरण होगा इसके पश्चात यात्रा घंटाघर मार्ग की ओर प्रस्थान करेगी घंटाघर से घूम कर यात्रा पुणे उसी मार्ग से वापस श्री राम मंदिर दीप लोक में सायं काल तक आएगी जहां मंदिर में प्रभु की पूजा अर्चना की जाएगी इसके पश्चात कहा जाता है कि माता लक्ष्मी जी श्री श्री जगन्नाथ प्रभु से नाराज हो जाती हैं कि वह अकेले ही भ्रमण पर चले गए और उन्हें नहीं लेकर गए तब श्री श्री जगन्नाथ जी माता महालक्ष्मी जी को मनाते हैं और उनके लिए श्रृंगार की सामग्री इत्यादि मां लक्ष्मी जी को भेंट कर मनाने का प्रयास करते हैं वैदिक परंपराओं के साथ यह परंपरा निभाई जाती है तब माता महालक्ष्मी द्वार खोलकर श्री श्री जगन्नाथ जी को अंदर प्रवेश करने की इजाजत देती है दशावतार आरती होती है
महाप्रसाद भोग का भंडारा
इसके पश्चात मंदिर प्रांगण में महाप्रसाद भोग का भंडारा प्रारंभ हो जाता है सभी भंडारे का प्रसाद ग्रहण करते हैं
विभिन्न संस्थाओं की उपस्थिति
श्री पृथ्वीनाथ महादेव जी मंदिर सेवा दल श्री राम मंदिर समिति श्री शनि सेना महाकाल के दीवाने श्री श्याम प्रेमी गणित आगरा श्री शाकंभरी सेवा समिति अग्रवाल समाज देव ब्राह्मण समिति नर्मदेश्वर महादेव मंदिर श्याम सुंदर मंदिर भवन कालिका मंदिर आदि
आज सर्व श्री पंडित शक्ति पुत्र सुभाष चंद्र शतपथी, अध्यक्ष प्रमोद गुप्ता, मंत्री अनिल बांगा, माननीय सूर्यकांत धस्माना, मंत्री उत्सव मंत्री जे0एस0 चुग, डॉक्टर कृष्ण अवतार , डॉसीमा अवतार ,सुनील कुमार अग्रवाल, बालेश कुमार गुप्ता एलडी आहूजा,मदन लाल अरोड़ा नारायण दास आरके गुप्ता एस0 के 0 गांधी ,एस के गुप्ता श्रीमती बीना बिष्ट, संगीता मीनाक्षी गोदियाल, निवेदिता पांडा बेनी माधव त्रिपाठी संजय कुमार गर्ग आदि उपस्थित रहे
संजय कुमार गर्ग मीडिया प्रभारी